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आधार को लिंक करने की तारीख 31 मार्च तक बढ़ाई जा सकती है:

8 December. 2017 | 12.22 PM

नई दिल्ली: केंद्र सरकार ने गुरुवार को सुप्रीम कोर्ट को बताया कि वह आधार को तमाम सर्विसेस से लिंक करने की आखिरी तारीख 31 मार्च तक बढ़ाना चाहती है। लेकिन इसका फायदा उन्हीं लोगों को मिलेगा, जिनके पास फिलहाल आधार नहीं हैं। अभी इसकी डेडलाइन 31 दिसंबर है। हालांकि, सरकार ने साफ किया कि मोबाइल सिम से आधार लिंक कराने की डेडलाइन 6 फरवरी से आगे नहीं बढ़ाई जाएगी। इस बीच, सुप्रीम कोर्ट में गुरुवार को हुई सुनवाई के बाद यूनीक आइडेंटिफिकेशन अथॉरिटी ऑफ इंडिया ने भी कहा कि आधार एक्ट लागू है। पैन कार्ड, सिम कार्ड, बैंक अकाउंट और वेलफेयर स्कीम्स को आधार से लिंक कराने का नियम अभी वैलिड है। सुप्रीम कोर्ट ने इस पर कोई स्टे नहीं लगाया है।


1) सुप्रीम कोर्ट में आज क्या हुआ?
- आधार लिंक करना मैंडेटरी किए जाने के खिलाफ पिटीशन्स लगाने वालों के वकील श्याम दीवान ने सीजेआई जस्टिस दीपक मिश्रा की बेंच के सामने कहा कि आधार लिंक कराने की डेडलाइन खत्म हो रही है, ऐसे में पिटीशनर्स को राहत देने के लिए उनकी बात सुनी जानी चाहिए।
- इस पर कोर्ट ने कहा कि आधार को लेकर दाखिल हुईं तमाम पिटीशंस पर सुनवाई के लिए 5 जजों की एक कॉन्स्टीट्यूशनल बेंच बनाई जाएगी, जो अगले हफ्ते सुनवाई करेगी। - दूसरी ओर, अटॉर्नी जनरल केके वेणुगोपाल ने पिटिशनर्स के वकील की दलील का विरोध किया। वेणुगोपाल ने कहा कि कि सालों से चली आ रही आधार स्कीम पर अंतरिम रोक नहीं लगा सकते हैं। इसके लिए 31 दिसंबर की डेडलाइन आगे बढ़ाएंगे, लेकिन फायदा उन्हीं लोगों को मिलेगा। जिनके पास फिलहाल आधार नहीं हैं।


2) मोबाइल, बैंक अकाउंट और बाकी सर्विसेस को आधार से लिंक कराने की अभी डेडलाइन क्या है?
सर्विस आधार से लिंक कराने की डेट
मोबाइल नंबर 6 फरवरी
बैंक अकाउंट 31 दिसंबर
पैन कार्ड 31 दिसंबर
बाकी सर्विसेस 31 दिसंबर


अभी कितने आधार लिंक हुए?
- 6 नवंबर तक 13 करोड़ 28 लाख आधार-पैन लिंक किए जा चुके थे।


3) बैंक अकाउंट आधार से कैसे लिंक करें?
- पहला तरीका यह है कि आपको अपनी बैंक की ब्रांच में जाना होगा। वहां अपने आधार की डिटेल देनी होगी। बैंक का स्टाफ आपके आधार को अकाउंट से लिंक कर देगा।
- दूसरा तरीका यह है कि इंटरनेट बैंकिंग पर लॉगइन करें। Update Aadhaar Card Details को खोजें। कुछ बैंकों के अकाउंट में यह ऑप्शन Aadhaar Card Seeding के रूप में भी होता है। इन लिंक्स पर क्लिक कर अपनी आधार डिटेल भरें और सबमिट कर दें।


4) आपका बैंक अकाउंट आधार से लिंक है या नहीं, ये कैसे देख सकते हैं?
- वेबसाइट www.uidai.gov.in पर जाएं।
- इस पर क्लिक करें- Check Aadhaar & Bank Account Linking Status in Aadhaar Services catagory
- अपना आधार नंबर और सिक्युरिटी कोड डालें। सबमिट करने पर आपके आधार डाटाबेस से रजिस्टर्ड मोबाइल नंबर पर OTP भेजा जाएगा।
- OTP डालकर लॉगइन पर क्लिक करें।
- लॉगइन होने पर वेबसाइट पर नजर आता है कि आपका आधार नंबर मैप हुआ या नहीं।


5) फोन नंबर को आधार से लिंक कराने की क्या प्रॉसेस है?
- सबसे पहले फोन यूजर को टेलिकॉम कंपनी के IVR नंबर पर कॉल करना होगा। यूजर को उसी मोबाइल नंबर से कॉल करना होगा जो वो आधार से लिंक कराना चाहता है।
- कॉल करने के बाद मैसेज सुनाई देगा। मोबाइल नंबर एंटर करते ही आधार कार्ड अथाॅरिटी को ओटीपी के लिए रिक्वेस्ट जाएगी।
- ओटीपी आधार कार्ड से लिंक मोबाइल नंबर पर आएगा। IVR पर चल रहे कॉल पर आपको यह ओटीपी शेयर करना है। इसके बाद आपकी ई-केवायसी डिटेल आधार कार्ड अथाॅरिटी तक पहुंच जाएगी। सही डिटेल पाए जाने पर मोबाइल नंबर री-वेरिफिाई हो जाएगा। इसका मैसेज भी आपके नंबर पर आ जाएगा।
- इसकी दूसरी प्रॉसेस ये है कि आप अपने मोबाइल सर्विस प्रोवाइडर के सेंटर पर जाएं और वहां अपना आधार नंबर पर बताकर बायोमीट्रिक सिस्टम से उसे लिंक कराएं।
- कुछ कंपनियां सीधे कस्टमर तक पहुंचकर भी मोबाइन नंबर को आधार से लिंक कर रही हैं।


5) जजों की बेंच अगले हफ्ते करेगी सुनवाई
- आधार को सरकारी सर्विसेस से लिंक करने के खिलाफ दायर की गई पिटीशन्स पर अगले हफ्ते सुनवाई की जाएगी।
- इन पिटीशन्स में सरकार के फैसले पर अंतरिम रोक लगाने की मांग की गई है।
- सुप्रीम कोर्ट इसके लिए 5 जजों की कॉन्स्टीट्यूशन बेंच बनाएगी।


SC ने कब क्या कहा?
- 7 जुलाई को बेंच ने कहा था कि आधार से जुड़े सभी मामलों की अंतिम रूप से सुनवाई एक बड़ी बेंच को करनी चाहिए।
- 12 जुलाई को सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि 5 जजों की बेंच आधार और प्राइवेसी से जुड़े मामले की सुनवाई करेगी।
- 18 जुलाई को 5 जजों की बेंच ने कहा कि 9 जजों की बेंच राइट टू प्राइवेसी पर फैसला करेगी।
- 24 अगस्त को 9 जजों की बेंच ने राइट टू प्राइवेसी को फंडामेंटल राइट के दायरे में बताया था। साथ ही, कहा कि इसकी सुरक्षा 'जीवन का अधिकार' (आर्टिकल 21) की तरह करना चाहिए।
- बता दें कि कई पिटीशनर्स का दावा था कि आधार वैलिडिटी प्राइवेसी के हक के खिलाफ है।


ये है मामला
- सोशल वेलफेयर स्कीम्स का फायदा लेने के लिए केंद्र ने आधार को जरूरी कर दिया है। इसके खिलाफ तीन अलग-अलग पिटीशन्स सुप्रीम कोर्ट में लगाई गई थी।
- इससे पहले सुप्रीम कोर्ट ने अपने ऑर्डर में कहा था कि सरकार और उसकी एजेंसियां योजनाओं का लाभ लेने के लिए आधार को जरूरी ना बनाएं।
- बाद में सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र को ये छूट दी थी कि एलपीजी सबसिडी, जनधन योजना और पब्लिक डिस्ट्रीब्यूशन सिस्टम से लाभ लेने के लिए लोगों से वॉलियन्टरी आधार कार्ड मांगे जाएं।


डुप्लीकेशन हटाना सरकार का मकसद
- सरकार डुप्लीकेशन हटाने के लिए तमाम योजनाओं में आधार जरूरी कर रही है।
- इन्श्योरेंस रेग्युलेटर इरडा ने भी सभी इन्श्योरेंस कंपनियों से उनके एजेंट्स के आधार नंबर जमा करनवाने को कहा है।
- इसका मकसद ऑनलाइन डाटाबेस बनाना है, ताकि डुप्लीकेशन को रोका जा सके।
- इस डाटाबेस का जिम्मा इन्श्योरेंस इन्फॉर्मेशन ब्यूरो ऑफ इंडिया के पास होगा।

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